बीएड शिक्षकों के लिए छह माह का ब्रिज कोर्स अनिवार्य, सुप्रीम कोर्ट का बड़ा फैसला
सरकारी प्राथमिक विद्यालयों में बीएड डिग्रीधारी शिक्षकों के लिए अब छह महीने का ब्रिज कोर्स अनिवार्य कर दिया गया है। सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद राष्ट्रीय अध्यापक शिक्षा परिषद (NCTE) ने इस कोर्स को तैयार कर लिया है, जिसे राष्ट्रीय मुक्त विद्यालयी शिक्षा संस्थान (NIOS) के माध्यम से संचालित किया जाएगा।
यह आदेश उन सभी शिक्षकों पर लागू होगा जिन्हें 11 अगस्त 2023 से पहले नियुक्त किया गया था। सुप्रीम कोर्ट ने स्पष्ट किया है कि यह कोर्स बीएड डिग्रीधारी शिक्षकों को प्रभावी शिक्षण पद्धतियों और नई शिक्षा नीति से परिचित कराएगा।
कोर्स पूरा न करने पर नियुक्ति अमान्य हो सकती है
कोर्ट ने यह भी स्पष्ट किया है कि अगर कोई शिक्षक निर्धारित समयसीमा के भीतर ब्रिज कोर्स पूरा नहीं करता है, तो उसकी नियुक्ति को अमान्य घोषित किया जा सकता है। सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में इस आदेश को लागू करने के निर्देश दिए गए हैं।
उत्तर प्रदेश के 35 हजार शिक्षक भी आएंगे दायरे में
सुप्रीम कोर्ट के इस निर्णय का सीधा असर उत्तर प्रदेश में 69 हजार शिक्षक भर्ती के अंतर्गत चयनित लगभग 35 हजार शिक्षकों पर पड़ेगा। इन सभी को भी यह ब्रिज कोर्स करना अनिवार्य होगा।
गौरतलब है कि 2011 में परिषदीय स्कूलों में चयनित शिक्षकों को भी विशेष बीटीसी कोर्स कराया गया था। उसी तर्ज पर अब यह नया कोर्स तैयार किया गया है ताकि शिक्षक आधुनिक और प्रभावी शिक्षण प्रणाली को समझ सकें।
यह कदम देशभर में प्राथमिक शिक्षा की गुणवत्ता को सुधारने की दिशा में एक महत्वपूर्ण पहल माना जा रहा है।
एक टिप्पणी भेजें